International Research Journal of Commerce , Arts and Science
( Online- ISSN 2319 - 9202 ) New DOI : 10.32804/CASIRJ
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बिहार में डेयरी उद्योग एक आवश्यकता
1 Author(s): PUSHPANJALI KUMARI
Vol - 10, Issue- 8 , Page(s) : 104 - 109 (2019 ) DOI : https://doi.org/10.32804/CASIRJ
भारतीय अर्थव्यवस्था में बिहार का योगदान महत्वपूर्ण है। यद्वपि बिहार का ऐतिहासिक अतीत गौरवशाली है। इतिहास गवाह है कि बिहार का लगातार (तीन बार) विभाजन होने के बाद कृषि एवं पशुघन की राज्य का मुख्य व्यवसाय बन गया है। सर्वविदित है कि बिहार की अर्थव्यवस्था की आधारशीला ग्रामीण अर्थव्यवस्था है। खासकर ग्रामीण आबादी जो लगभग 90 प्रतिशत के है की जीविका का मुख्य आधार कृषि एवं पशुपालन रहा है। कृषि-पशुपालन -आय एवं विकास दर मंद व हत्तोत्साहित करने वाला है। इसके बावजूद, कृषि व पशुपालन बिहार की जनसंख्या को खाद्यान के अलावा रोजगार भी मुहैया करती है। यह रोजगार कृषि उपज एवं डेयरी उद्योगों में सुलभ होता है। आधुनिक अर्थव्यवस्था तकनीकी पर आधारित है के बदलते परिवेश में डेयरी उद्योगों को नई दिशा मिली है।